सड़क बदहाल परेशान जनता और विकास के खोखले दावे…

बलौदाबाजार। जिले में विकास की गाथा बडे़ ही उत्साह के साथ मंत्री, जनप्रतिनिधि और वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी प्रमुखता से कहते रहते हैं, लेकिन तस्वीर इसके ठीक उलट है. जिले में खराब और खस्ताहाल सड़कों से आम जनता त्रस्त है. आए दिन गाड़ियों का एक्सीडेंट हो रहा है. वाहन चालक भी बेपरवाह हैं. जनता अधिकारियों को आवेदन दे-देकर परेशान है, लेकिन सुनने वाला कोई नहीं सबसे ज्यादा खराब स्थिति बलौदाबाजार-भाटापारा मार्ग, बलौदाबाजार से सुहेला पड़कीडीह, हथबंद, सिमगा, बलौदाबाजार विकासखंड के ही ग्राम करमदा, गैतरा, भरसेला मार्ग है, जिस पर लोगों का चलना दूभर हो चुका है. उड़ती धुल और बडे़-बडे़ गढ्ढों से जनता परेशान है. बलौदाबाजार-भाटापारा मार्ग ऐसा कि सामान्य आदमी भी मोटर साइकिल चलाये तो लगता है, तो लगता है कि नशा कर गाड़ी चला रहा है, पर मजबूर है. यह जरूर है कि मुख्यमंत्री सहित अन्य मंत्री जिले में करोड़ों रुपए के विकास कार्यों के भूमिपूजन और लोकार्पण कर रहे हैं, पर सड़कों की स्थिति ठीक उल्टी है. जनता और खासकर ग्रामीण जो कि सीमेंट संयंत्र के आसपास रहते हैं, उनका कहना है कि सड़क से उड़ती धूल से नहीं घर में बनने वाले खाद्य पदार्थ बड़ी, बिजौरी और अन्य सामान बना पा रहे हैं, और न ही कपड़े सूखा पा रहे हैं. घर का सदस्य जब बाहर जाता है, वह सही-सलामत आ पाएगा या नहीं इसका डर हमेशा बना रहता है, लेकिन आम लोगों की चिंता न तो प्रशासन को है और नहीं सीमेंट संयंत्रों को.

वाहन चालक कहते हैं कि जान जोखिम में डालकर वाहन चलाने को मजबूर हैं. कब गाड़ी खराब हो जाएगी या कब एक्सीडेंट हो जाएगा, हम नहीं जानते हैं. वहीं ग्रामीण महिला ने कहा कि न तो वह घरेलू सामान बना पाती है और न ही कपड़े सुखा पा रही है. इस कदर धूल है. जनसुनवाई के दौरान यह मामला लगभग हर किसी ने उठाया है.वहीं सीमेंट संयंत्र में सामान लेकर आने वाले वाहनों पर न ही जिला प्रशासन और नहीं आरटीओ और पुलिस विभाग कार्रवाई करता है. हां, यह जरूर है कि पुलिस मोटरसाइकिल सवारों को शिक्षा जरूर देती है कि हेलमेट पहन कर वाहन चलाये और जुर्माना भी इन्हीं से वसूल रही है, पर ओव्हरलोड वाहनों पर जिले में कोई कार्रवाई नहीं हुई. यह एक बड़ा सवाल आम जनता का है कि आखिर क्यों.

You May Also Like

error: Content is protected !!