(Omgnews.co.in)-मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (NEET) और ज्वाइंट एंट्रेंस एग्जाम (JEE) साल में दो बार कराए जाने को हरी झंडी दे दी है. जावड़ेकर ने बताया कि नीट, जेईई मेंस, जिपैट, नेट जो सीबीएसई कराती थी वो अब ये नेशनल टेस्टिंग एजेंसी कराएगी. ये सभी परीक्षाएं पेपरलेस होंगी और कंप्यूटर पर होगी. नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने अपना काम शुरू कर दिया है.
जावड़ेकर ने कहा कि विदेशों की तरह ही पारदर्शी बनाने केलिए सभी परीक्षाओं को कंप्यूटर के जरिए ही लेने का निर्णय लिया गया है. उन्होंने बताया कि पाठ्यक्रम, फीस, भाषाओ में किसी भी तरह का कोई बदलाव नहीं किया गया है. परीक्षा में पूछे जाने वाले प्रश्नों के पैटर्न में भी किसी भी तरह का बदलाव नहीं किया गया है. उन्होंने कहा कि नीट में 13 लाख स्टूडेंट्स होते हैं जबकि जेईई में 12 लाख और सीमैट में 1 लाख छात्र बैठते हैं. उन्होंने कहा कि नेट की परीक्षा दिसंबर में होगी. जेईई मेन्स परीक्षा अब दो बार होगी. यह परीक्षा जनवरी और अप्रैल में होगी. नीट की परीक्षा फरवरी और मई में दो बार होगी.
जावड़ेकर ने बताया कि कंप्यूटर केंद्रों की घोषणा जल्द होगी. परीक्षा के दौरान इस बात का भी ध्यान रखा जाएगा कि छात्र अपने नजदीकी केंद्रों पर एक्जाम दे सकें. कंप्यूटर की प्रैक्टिस के लिए छात्रों को सुविधा दी जाएगी. इसके लिए छात्रों को कोई फीस नहीं देनी होगी. हर एक्जाम चार पांच दिन होगा. छात्रों को सुविधा होगी कि वह तारीखों का चयन खुद कर सकें. एक्जाम इंटरनेशनल स्तर के होंगे. परीक्षा के दौरान सुरक्षा का विशेष ध्यान रखा जाएगा. कोई छात्र अगर परीक्षा की तारीख मिस करता है तो उसे दूसरा चांस भी मिल सकता है. उन्होंने कहा कि ये ऑनलाइन परीक्षा नहीं बल्कि कंप्यूटर बेस एक्जाम होगा. इस तरह की परीक्षा से पारदर्शिता बढ़ेगी