( विकास तिवारी)
बीजापुर. अभी कुछ देर पहले जिले के उसूर ब्लॉक मुख्यालय में शुक्रवार को दिन दहाड़े एक युवक की धारदार हथियार से हत्या कर दी गई है। मृतक का नाम राममूर्ति गटपल्ली बताया जा रहा है, जो बीते कुछ वर्षों से उसूर में ही निवासरत था। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार उसूर ब्लॉक मुख्यालय के धान खरीदी केंद्र में सुबह लगभग दस बजे जब किसानों की भीड़ थी और सभी अपना धान बेचने पहुंचे हुए थे, वहां मृतक भी मौजूद था। अचानक तीन से चार की संख्या में ग्रामीण वेशभूषा में चार हमलावर पहुंचे और उन्होंने मृतक पर ताबड़तोड़ वार करना शुरू कर दिया।
अचानक हुए हमले से मृतक को संभलने का मौका नहीं मिला और वह लहूलुहान होकर जमीन पर गिर गया। इस दौरान हमलावरों ने वहां मौजूद प्रत्यक्षदर्शियों को चेतावनी देते हुए कहा कि यदि कोई भी मृतक को अस्पताल ले जाएगा तो उसके साथ भी यही अंजाम होगा। प्रत्यक्षदर्शियों की यदि माने तो हमलावर अपने साथ पारम्परिक हथियार के साथ साथ देशी कट्टा भी साथ रखे थे, जिससे प्रतीत हो रहा था कि हमलावर माओवादी संगठन से जुड़े हुए थे।
धान खरीदी में गड़बड़ी करने के आरोप में हटाया गया था मृतक.
मिली जानकारी के अनुसार मृतक राममूर्ति पहले पोलमपल्ली का निवासी था, पर बीते कुछ वर्षों से उसूर में ही घर बनाकर रहने लगा था। राममूर्ति पहले उसूर के धान खरीदी केंद्र में ही सेल्समैन के पद पर था, पर दो माह पूर्व ही बीजापुर कलेक्टर ने धान खरीदी में गड़बड़ी पाए जाने पर उसे निलंबित करते हुए उसके स्थान पर नए सेल्समैन को नियुक्त कर दिया था। बावजूद इसके मृतक पूरा समय धान खरीदी केंद्र में ही बिताता था।
मौके से कोई नक्सल पर्चा नहीं मिलने से मामला संदेहास्पद- एसपी वैष्णव.
एक ओर जहां दिनदहाड़े भरी भीड़ में हुई हत्या के बाद क्षेत्र में दहशत का माहौल है और लोग इसे नक्सल घटना से जोड़कर देख रहे हैं, वहीं दूसरी ओर बीजापुर एसपी अंजनेय वैष्णव का कहना है कि मौके से कोई माओवादी पर्चा बरामद नहीं किया गया है। जिससे इसे नक्सल घटना से जोड़कर नहीं देखा जा सकता। हालांकि मामले की सभी पक्षों से जांच की जा रही है।
थाने से महज कुछ दूरी पर हुई घटना.
जिस जगह पर दिनदहाड़े हत्या की घटना को अंजाम दिया गया है, वह उसूर थाने से महज एक किमी की दूरी पर है। ऐसे में अब क्षेत्रवासियों में अपनी सुरक्षा को लेकर भी मन मे संदेह उत्पन्न होने लगा है।