बिलासपुर. छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण में 17 नवंबर को वोट डाले जाने हैं ।इस बीच चुनावी पंडित प्रत्याशियों के जीत हार को लेकर लगातार कयास लगाये जा रहे हैं। इन मामलों में एक बात पर सभी एक राय है कि मस्तूरी विधानसभा सीट से इस बार भी भाजपा प्रत्याशी डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी बड़े अंतर से चुनाव जीत रहे हैं।
चुनाव बाजार में फलौदी सट्टा बाजार का रुझान बड़ा मायने रखता है। कहा जाता है कि आज तक फलौदी सट्टा बाजार की भविष्यवाणी कभी गलत नहीं साबित हुई। इसने भी मस्तूरी विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी के जीत की भविष्यवाणी की है। मस्तूरी विधानसभा सीट से 13 प्रत्याशी मैदान में है। इनमें से भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के दिलीप लहरिया पहले ही डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी से चुनाव में हार चुके हैं तो वही मैदान में बहुजन समाज पार्टी से दाऊ राम रत्नाकर अपना भाग्य आजमा रहे हैं।
मस्तूरी विधानसभा के जागरूक मतदाता जानते हैं कि उन्हें किधर वोट देना है क्योंकि उसी प्रत्याशी को वोट देना समझदारी होगी जिसकी सरकार बनने की संभावना सर्वाधिक है, और इस बार जिस तरह की परिस्थितिया बन रही है उससे एक बार फिर छत्तीसगढ़ में भाजपा की सरकार बनती दिख रही है। ऐसे में मस्तूरी विधानसभा से अगर डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी जीत दर्ज करते हैं तो क्षेत्र को न केवल सत्तारूढ़ पार्टी का विधायक मिलेगा बल्कि एक कद्दावर मंत्री भी मिलेगा।
डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी का कद भारतीय जनता पार्टी में किस स्तर का है इसे इस तरह समझ सकते हैं कि भाजपा के शासनकाल में उन्हें स्वास्थ्य मंत्री, उच्च शिक्षा मंत्री से लेकर अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष और उप नेता प्रतिपक्ष की महत्वपूर्ण जिम्मेदारी दी गई थी ।
दरअसल जब भी क्षेत्र का कोई प्रतिनिधि बड़े महत्वपूर्ण पद पर होता है तो इसका सीधा सा लाभ क्षेत्र की जनता को मिलता है। बड़े पदों पर आसीन प्रतिनिधि क्षेत्र के लिए विकास की असीमित संभावनाओं के द्वार खोल देता है तो वहीं क्षेत्र की जनता की भी छोटी बड़ी समस्याओं का निराकरण वह आसानी से कर सकता है।
इस बार डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी से बेहतर प्रतिद्वंदी दूर-दूर तक नजर नहीं आ रहा । भाजपा छोड़ कर जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ जे से चुनाव मैदान में उतरी चांदनी भारद्वाज पर मौका परस्त होने का आरोप लग रहा है। वर्षों तक भारतीय जनता पार्टी से अपनी राजनीति चमकाने वाली चांदनी भारद्वाज ने जिस तरह से टिकट न मिलने पर आखरी वक्त में जोगी कांग्रेस का दामन थामा, इससे उनकी साख पर विपरीत प्रभाव पड़ा है। वही जनता जानती है कि जोगी कांग्रेस का राजनीतिक भविष्य शून्य है, इसलिए उनके प्रत्याशी को वोट देना , वोट की बर्बादी के सिवाय और कुछ नहीं है। ऐसा ही कुछ हाल बहुजन समाज पार्टी के दाऊ राम रत्नाकर के साथ भी है । दाऊ राम रत्नाकर की छवि भले ही बसपा में बड़े नेता की रही हो लेकिन बसपा अब अतीत की बात हो चुकी है। राज्य में वैसे भी बसपा की हैसियत कभी भी बड़ी नहीं थी और अब तो बसपा ना उत्तर प्रदेश में है और ना ही केंद्र में। ऐसे में बसपा के उम्मीदवार को वोट देने का कोई अर्थ नहीं रह जाता।
दिलीप लहरिया की छवि एक नाचने गाने वाले कलाकार की है, जिनका पूर्व कार्यकाल बेहद निराशाजनक रहा है। यही कारण है कि जिस वक्त कांग्रेस की आंधी चली थी उस वक्त भी वे चुनाव नहीं जीत पाए ।उल्टे तीसरे नंबर तक खिसक गए। आम आदमी पार्टी के धर्मदास भार्गव को क्षेत्र की जनता जानती तक नहीं है। अन्य प्रत्याशियों के नाम का जिक्र करना भी फिजूल है। इसलिए मस्तूरी विधानसभा क्षेत्र की समझदार जनता का रुझान भाजपा के पक्ष में नजर आ रहा है।
ऊपर से भाजपा के घोषणा पत्र ने चमत्कारी प्रभाव उत्पन्न किया है। किसानों से प्रति एकड़ 21 क्विंटल धान और वह भी ₹3100 में खरीदने का ऐलान तुरूप का पत्ता साबित हुआ है। पूरे मस्तूरी विधानसभा क्षेत्र में महिलाओं में भाजपा को लेकर गजब का उत्साह है। महिलाओं को 500 रुपये में रसोई गैस सिलेंडर और महतारी वंदन योजना के तहत प्रत्येक महिला को ₹12,000 सालाना देने का ऐलान तुरुप का पत्ता साबित हो रहा है । बेरोजगारों के लिए एक लाख पद और अन्य घोषणाओं के चलते भी भाजपा विरोधी दलों से एक कदम आगे है।
डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी स्वयं कहते हैं कि भाजपा का घोषणा पत्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गारंटी है, जिस पर पूरा देश भरोसा करता है। तो वहीं कांग्रेस के घोषणा पत्र का मूल्य शून्य है क्योंकि कांग्रेस की पहचान ही वादा खिलाफी के लिए है। कांग्रेस के नेता महिलाओं को ₹15000 देने का जो वादा कर रहे हैं वह ठीक वैसे ही साबित होगी जैसे बेरोजगारों को ढाई हजार रुपए देने की बात थी। बाद में उस पर इतने नियम और शर्तें जोड़ दी जाएगी इसके चलते शायद ही किसी को यह रकम मिल पाए। लेकिन भाजपा शासन आने पर सभी विवाहित महिलाओं को हर महीने ₹1000 मिलेगी। इसे लेकर क्षेत्र की महिलाओं में अपार उत्साह देखा जा रहा है।
बातचीत में महिलाएं एक स्वर में भाजपा के प्रत्याशी डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी को ही वोट देने की बात कह रही हैं। साथ ही आपसी चर्चा में भी यह बात निकल कर आ रही है कि अपना वोट किसी वोट कटवा पार्टी को देने या फिर हारने वाली पार्टी को देने की बजाय उस प्रत्याशी को देना समझदारी होगी जिसकी सरकार बन रही है और इस बार उनके अनुसार छत्तीसगढ़ में भाजपा की सरकार बन रही है और डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी एक बार फिर से मस्तूरी के विधायक चुने जाएंगे ।
इस बीच डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी लगातार चुनाव प्रचार में लगे हुए हैं । अंतिम दिनों में उनका प्रचार पूरे तूफान पर है।