केंद्रीय सड़क परिवहन सचिव अनुराग जैन ने कहा है कि सरकार जल्द ही दुर्घटनाओं को रोकने और बेहतर ड्राइवर व्यवहार के लिए वाहनों में सुरक्षा सुविधा के रूप में ‘एडवांस्ड ड्राइवर असिस्टेंस सिस्टम’ (ADAS) लगाने के लिए मानकों को अधिसूचित करेगी. उन्होंने यह भी कहा कि सरकार जल्द ही बस बॉडी कोड भी अधिसूचित करेगी, जो बसों के लिए अनिवार्य होगा.
उद्योग मंडल सीआईआई द्वारा मंगलवार को आयोजित एक सड़क सुरक्षा कार्यक्रम में बोलते हुए, जैन ने कहा, “ADAS पर काम प्रगति पर है. हमें उम्मीद है कि यह जल्द ही होगा और इससे ड्राइवर के व्यवहार को बेहतर बनाने और दुर्घटनाओं को कम करने के लिए टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करने में मदद मिलेगी.’
नियमों का करें बेहतर पालन
अनुराग जैन ने कहा कि अब हमारे पास तकनीक है, जो यह पहचान नहीं पाएगी कि आप कौन हैं और दिल्ली में एक मुहावरा है “तू जानता नहीं मैं कौन हूं” (आप नहीं जानते कि मैं कौन हूं), अब यह काम नहीं करेगा, क्योंकि तकनीक आपको नहीं पहचानती हैं. यह भूल जाती है आप कौन हैं और ये सिर्फ यह याद रखती है कि आप नियमों का बेहतर पालन कर रहे हैं या नहीं.
ड्राइवरों के व्यवहार में बदलाव की आवश्यकता
जैन ने सड़क पर ड्राइवरों के व्यवहार में बदलाव की आवश्यकता पर जोर दिया और उद्योग संगठनों से आग्रह किया कि वे अपने कर्मचारियों को सड़क सुरक्षा की दिशा में शुरुआत करने के लिए शिक्षित करना शुरू करें. जैन ने कहा कि पहले के दिनों में किसी को भी लाइसेंस मिल जाता था और लोगों के पास उचित प्रशिक्षण भी नहीं होता था. अगर आप रेड लाइट पर रुकेंगे, तो कोई ऐसे हॉर्न बजाता रहेगा, जैसे आपने कोई अपराध कर दिया हो. जहां तक शिक्षा का सवाल है, बहुत कुछ करने की जरूरत है, जिससे लोगों को रोड सेफ्टी के बारे में पता चल सके. परिवहन मंत्रालय के एक अधिकारी ने कहा, “हमने ADAS के एक अन्य कंपोनेंट, एडवांस्ड इमरजेंसी ब्रेकिंग सिस्टम (एईबीएस) (AEBS) के लिए मसौदा मानदंड जारी किया है, और यह अंतिम चरण में है. इस सिस्टम से लैस वाहन के सामने यदि कोई वस्तु आती है तो एईबीएस अपने आप एक्टिव हो जाएगा. यह घने कोहरे की स्थिति में सबसे मददगार होगा.” प्रस्तावित मानक के अनुसार, एईबीएस तभी एक्टिव होगा जब इससे लैस वाहन 50 किमी प्रति घंटे या उससे ज्यादा की रफ्तार पर होगा.