शाबाश कलेक्टर: महाकुंभ की तर्ज पर गिरौदपुरी मेले की सुरक्षा और व्यवस्था दुगनी कराई. तस्वीरों में देखिए मेले की भव्यता.

भाटापारा,बलौदा बाजार. प्रयागराज के महाकुंभ में बढ़ती भीड़ को ध्यान में रखते हुए इस बार बाबा गुरु घासीदास की जन्मस्थली और कर्मस्थली गिरौदपुरी धाम गुरु दर्शन मेले में श्रद्धालुओं के लिए कलेक्टर दीपक सोनी के सुपरविजन में पहले से दुगनी चाक-चौबंद व अन्य व्यवस्थाएं नजर आई। महाकुंभ के जन सैलाब की तर्ज पर गिरौदपुरी धाम मेले का नजारा ही कुछ और ही है। जिससे मेले में जाने वाले श्रद्धालु और खासकर सतनामी समाज साय सरकार को शाबाशी दे रहे हैं।

प्रदेश के सतनामी समाज की आस्था का केंद्र गिरौदपुरी धाम का मेला इस बार देखने लायक है। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की सुशासन सरकार ने प्रयागराज महाकुंभ की तर्ज पर गिरौदपुरी धाम के मेले में तमाम तरह की व्यवस्था में कर रखी है। जिसका सारा जिम्मा कलेक्टर दीपक सोनी ने संभाला। भोजन, मेडिकल, पानी, टॉयलेट, सीसीटीवी कैमरा, सुरक्षा के इंतेजामात, बिजली, क्रेन की व्यवस्था, सफाई के अलावा सोशल एक्टिविटी भी मेले की चाक चौबंद व्यवस्थाओं में एक्टिव रही। बीते वर्ष की अपेक्षा गिरौदपुरी धाम में वर्ष 2025 के मेले में श्रद्धालुओं के हर तरह की जरूरत का ख्याल रखा गया है।

गिरौदपुरी धाम मेले की सुरक्षा को लेकर भी कलेक्टर सोनी जिला पुलिस के अमले की लगातार मॉनिटरिंग कर रहे हैं। जिला और पुलिस प्रशासन का बेहतर तालमेल बनाकर कलेक्टर दीपक सोनी ने 4 से 6 मार्च दो दिवसीय मेले को श्रद्धालुओं और सतनामी समाज के अनुरूप बेस्ट रिजल्ट देने पहले से ही प्लानिंग बना रखी थी। जिसे मूर्त रूप मेले के आयोजन में दिया गया। यंग आईएएस दीपक सोनी ने प्लानिंग की थी। जिसमें इस बार के मेले में दुगने अरेंजमेंट के फिगर देखे जा सकते हैं वहीं गिरौदपुरी धाम मेले को ‘OMG NEWS’ तस्वीरों के माध्यम से दिखा रहा है।

दो स्पेशल सुविधा का हुआ इजाफा.

कलेक्टर सोनी ने सतनामी समाज की आस्था के मद्देनजर इस बार कुछ नया किया है। श्रद्धालुओं और आम जनों की जानकारी के लिए उन्होंने एक वेबसाइट तैयार किया है ताकि जिसमें सभी ऑनलाइन सुविधाओं के बारे में रूबरू हो सके वही में गेट से मुख्य मंदिर तक दंडवत प्रणाम करते जाने वाले श्रद्धालुओं के लिए अस्थाई मैट और छाया के लिए सेड लगाया गया है।

सुशासन सरकार में छत्तीसगढ़ की माटी का बेटा

मालूम हो कि 2011 बैंच के आईएएस अफसर कलेक्टर दीपक सोनी छत्तीसगढ़ के माटी पुत्र हैं। उन्होंने बीते वर्ष जून माह में जिले का चार्ज लिया था इसके बाद से गिरौदपुरी धाम की महत्ता को जाना समझा और ऐसा हो भी क्यों न राज्य की माटी के पुत्र है श्री सोनी तो उन्हें यहां होने वाले सामाजिक रीति रिवाज की बेहतर परख भी है। इसी अनुभव का नजारा गिरौदपुरी धाम के मेले में देखने को मिल रहा है और श्रद्धालुओं के साथ सतनामी समाज साय सरकार की सारी व्यवस्थाओं से संतुष्ट होकर शाबाशी दे रहे हैं।

इधर गुरूदर्शन मेले में उमड़ रही श्रद्धा की बयार, देशभर से आ रहे श्रद्धालु मेले का आज समापन.


मुख्य बातें.

मुख्यमंत्री की घोषणा पर मेले के आयोजन के लिए मिलेगी 50 लाख रुपए की राशि.

मुख्य प्रवेश द्वार से मुख्य मंदिर तक स्थायी शेड का होगा निर्माण.

छत्तीसगढ़ राज्य की स्थापना होने के बाद प्रदेश का ऐसा कोई भी मुख्यमंत्री न हो जिसने गिरौदपुरीधाम में अपना शीश न नवाया हो, 4 मार्च को मेले के पहले ही दिन मुख्यमंत्री विष्णु देव साय यहां पहुंचे थे।

बाबा गुरु घासीदास की जन्मस्थली और कर्मस्थली गिरौदपुरी में आयोजित गुरूदर्शन मेला अपनी भव्यता और आस्था के लिए देशभर में प्रसिद्ध है। 4 से 6 मार्च तक चलने वाले इस मेले में छत्तीसगढ़ सहित पूरे भारत से हजारों श्रद्धालु आशीर्वाद प्राप्त करने पहुंच रहे हैं। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के निर्देश पर इस वर्ष श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए गए हैं।


मुख्यमंत्री साय ने इस बार मेले को भव्य स्वरूप में आयोजित करने के लिए 50 लाख रुपए की राशि की घोषणा की है, जो पूर्व में 25 लाख रुपए थी। इसके साथ ही, मुख्य प्रवेश द्वार से मुख्य मंदिर तक स्थायी शेड के निर्माण की भी घोषणा की गई है।

मुख्यमंत्री साय ने स्वयं गुरू गद्दी का दर्शन कर प्रदेशवासियों की सुख-समृद्धि एवं खुशहाली की प्रार्थना की और मेले की भव्यता बढ़ाने और श्रद्धालुओं को अधिक सुविधा प्रदान करने के लिए मेला बजट को दोगुना करने के साथ ही जिला प्रशासन को निर्देश दिए कि श्रद्धालुओं के लिए बेहतर सुविधाएँ उपलब्ध कराई जाएं। मुख्यमंत्री साय की घोषणा के बाद जिला प्रशासन ने त्वरित कार्रवाई करते हुए लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों को मुख्य प्रवेश द्वार से मुख्य मंदिर तक स्थायी शेड निर्माण के लिए स्थल निरीक्षण एवं माप-जोख करने के निर्देश दिए हैं।

मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के दिशानिर्देश पर इस वर्ष मेले में श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा के लिए बेहतर इंतजाम किए गए हैं। गुरूदर्शन मेला न केवल छत्तीसगढ़, बल्कि देशभर के श्रद्धालुओं के लिए आस्था और भक्ति का केंद्र है। इस वर्ष मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की पहल से इसे और भव्य और सुव्यवस्थित बनाया गया है। प्रशासन द्वारा की गई इन सुविधाओं की बढ़ोतरी से श्रद्धालुओं को अधिक सुविधाजनक, सुरक्षित और आध्यात्मिक अनुभव मिलेगा। गुरूदर्शन मेले का यह ऐतिहासिक विस्तार श्रद्धालुओं की सेवा और आस्था को नई ऊँचाई पर ले जाने वाला साबित होगा।

दुगुनी व्यवस्था.

गुरुदर्शन मेले में श्रद्धालुओं को मिलने वाली स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ किया गया है, जिसके अंतर्गत चिकित्सा सहायता केंद्रों की संख्या 2 से बढ़ाकर 8 कर दी गई है और एंबुलेंस की संख्या 4 से बढ़ाकर 8 की गई है।

निःशुल्क भोजन सेवा को भी विस्तार देते हुए अब 24 स्थानों पर 212 समूहों द्वारा भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है, जो पहले 20 स्थानों पर 175 समूहों द्वारा संचालित थी। पेयजल व्यवस्था को भी सुदृढ़ किया गया है, जिसमें स्थायी नल कनेक्शन की संख्या 110 से बढ़ाकर 195 कर दी गई है और पानी टैंकरों की संख्या 8 से बढ़ाकर 18 कर दी गई है। मेले में सुरक्षा व्यवस्था को और मजबूत किया गया है, जिसमें पुलिस कंट्रोल रूम की संख्या 3 से बढ़ाकर 9 कर दी गई है, सुरक्षा बलों की संख्या 450 से बढ़ाकर 1150 की गई है और पहली बार 36 सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं, जिनकी नियमित मॉनिटरिंग हो रही है ।सुरक्षाकर्मियों को 130 वायरलेस सेट भी प्रदान किए गए हैं। अग्नि सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए अब 1 के बजाय 3 अग्निशमन वाहन तैनात किए गए हैं ताकि किसी भी आपात स्थिति में तुरंत कार्रवाई की जा सके। मेले में विद्युत एवं प्रकाश व्यवस्था को और प्रभावी बनाया गया है, जिसमें ट्रांसफार्मरों की संख्या 10 से बढ़ाकर 13 कर दी गई है और विद्युत आपूर्ति बाधित होने की स्थिति में बैकअप जनरेटर की संख्या 6 से बढ़ाकर 10 कर दी गई है। श्रद्धालुओं की सुविधा को देखते हुए शौचालयों की संख्या 4 से बढ़ाकर 16 कर दी गई है, स्नानागार की संख्या 6 से बढ़ाकर 10 की गई है, और अतिरिक्त रूप से 80 सीटर स्थायी शौचालय की भी व्यवस्था की गई है। स्वच्छता व्यवस्था को अधिक प्रभावी बनाने के लिए सफाई कर्मचारियों की संख्या 80 से बढ़ाकर 291 कर दी गई है ताकि मेले में स्वच्छता बनी रहे।

इस वर्ष पहली बार गिरौदपुरी मेला डॉट कॉम नामक वेबसाइट लॉन्च की गई है, जिससे श्रद्धालुओं को मेला स्थल की जानकारी, आवश्यक मार्गदर्शन और अन्य आवश्यक सेवाओं की ऑनलाइन जानकारी मिल सके। इससे श्रद्धालु यात्रा संबंधी सूचनाएं, पार्किंग व्यवस्था, धार्मिक स्थलों की जानकारी और अन्य सुविधाओं की पूरी जानकारी ऑनलाइन प्राप्त कर सकते हैं।

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